एएम नाथ। चम्बा : भारत निर्वाचन आयोग की ओर से लोकसभा चुनावों के दृष्टिगत कांगड़ा संसदीय में व्यय निगरानी के लिए नियुक्त व्यय पर्यवेक्षक प्रतिभा चौधरी (आईआरएस- 2011) ने जिला मुख्यालय चंबा में सहायक व्यय पर्यवेक्षकों के साथ एक बैठक की। बैठक में जिला निर्वाचन अधिकारी एवं उपायुक्त चंबा मुकेश रेपसवाल के अलावा अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी राहुल चौहान सहित विभिन्न उपमंडलों के सहायक निर्वाचन अधिकारियों के अलावा कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले जिला चंबा के चुराह, चंबा, डलहौजी तथा भटियात विधानसभा क्षेत्रों के लिए लगाए गए सहायक व्यय पर्यवेक्षकों ने भाग लिया। बैठक में प्रतिभा चौधरी ने सभी सहायक व्यय पर्यवेक्षकों तथा व्यय निगरानी से संबंधित अन्य अधिकारियों को भी आवश्यक दिशा निर्देश दिए।
व्यय पर्यवेक्षक ने पर्यवेक्षकों को निष्पक्ष, भयमुक्त तथा शांतिपूर्ण चुनाव करवाने के लिए अपनी भूमिकाओं का गंभीरता से निर्वाहन करने वारे निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि निष्पक्ष और भयमुक्त चुनाव संपन्न करवाने के लिए पार्टियों और प्रत्याशियों के व्यय पर कड़ी नजर रखा जाना एक महत्वपूर्ण कार्य है जिसके लिए निर्वाचन प्रक्रिया से जुड़ी विभिन्न टीमों का आपसी समन्वय होना परम आवश्यक है उन्होंने जिला मुख्यालय चंबा में स्थापित मीडिया प्रमाणन एवं मीडिया निगरानी समिति तथा एमसीसी समीति से संबंधित अधिकारियों को भी महत्त्वपूर्ण दिशा निर्देश दिए। बैठक के उपरांत व्यय पर्यवेक्षक ने मीडिया प्रमाणन एवं मीडिया निगरानी कक्ष तथा एमसीसी से संबंधित शिकायत कक्ष का दौरा कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया तथा बहुमूल्य निर्देश दिए।
उन्होंने बताया कि लोकसभा चुनाव में व्यय की सीमा चुनाव आयोग ने 95 लाख निर्धारित की है। इसी सीमा के अन्दर प्रत्याशी को प्रचार में खर्च करना होगा। उन्होंने बताया कि नामांकन के उपरांत प्रत्याशी द्वारा प्रचार में खर्च की गई धनराशि को उनके चुनावी व्यय में जोड़ा जाएगा। उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि समस्त सहायक व्यय पर्यवेक्षक प्रतिदिन पार्टी और प्रत्याशी द्वारा किए गए व्यय की वीडियो सर्विलॉस टीमों द्वारा उपलब्ध करवाई गई विडियो को देखकर खर्च का आकलन करेंगे। उन्होंने समस्त सहायक व्यय पर्यवेक्षकों से कहा कि वे निर्वाचन आयोग द्वारा जारी दिशानिर्देशों के अनुरूप कार्य करना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति लोकसभा चुनाव के दौरान व्यय से संबंधित शिकायत दूरभाष नंबर 01892-297444 पर भी कर सकता है।
इससे पूर्व जिला निर्वाचन अधिकारी व मुकेश रेपसवाल ने व्यय पर्यवेक्षक को पीपीटी के माध्यम से जिला चंबा की भौगोलिक परिस्थितियों के अलावा मतदाताओं तथा मतदान केंद्रों की संख्या के अलावा जिला के लोकसभा चुनाव 2024 से संबंधित अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं बारे अवगत करवाया। उन्होंने जानकारी दी कि जिला चंबा में लोकसभा निर्वाचन 2019 के दौरान तथा विधानसभा निर्वाचन 2022 के दौरान क्रमशः 68.79 प्रतिशत तथा 73.90 प्रतिशत मतदान रहा है। जिला में कुल 631 मतदान केंद्र हैं जिनमें से 374 मतदान केंद्र सड़क सुविधा से जुड़े हुए हैं जबकि 121 मतदान केंद्र सड़क से 1 किलोमीटर, 59 मतदान केंद्र सड़क से 2 किलोमीटर, 40 मतदान केंद्र सड़क से 3 किलोमीटर की दूरी पर तथा 37 मतदान केंद्र सड़क से 3 किलोमीटर से अधिक के पैदल रास्ते दूरी पर है। जिला के 611 मतदान केंद्र सामान्य तथा 20 मतदान केंद्र क्रिटिकल श्रेणी के हैं उन्होंने बताया कि जिला मुख्यालय चंबा में स्थापित एमसीसी नियंत्रण कक्ष में 16 मार्च 2024 से 8 मई 2024 तक कुल 15 शिकायतें प्राप्त हुई है तथा सभी शिकायतों का निष्पादन किया जा चुका है।
बैठक में पुलिस अधीक्षक चंबा अभिषेक यादव ने जिला में चुनावो से संबंधित सुरक्षा बलों की उपलब्धता तथा कानून व्यवस्था से जुड़े विभिन्न पहलुओं वारे महत्वपूर्ण जानकारी दी। एसपी चंबा ने बताया कि जिला चंबा की सीमावर्ती राज्य पंजाब तथा जम्मू कश्मीर के साथ लगती सभी सीमाओं पर सुरक्षा के सभी पुख्ता प्रबंध किए गए हैं तथा इसके लिए इन राज्यों के पुलिस व प्रशासन से जुड़े अधिकारियों के साथ भी निरंतर संपर्क व समन्वय स्थापित किया जा रहा है।
इस अवसर पर उपायुक्त मुकेश रेपसवाल, पुलिस अधीक्षक अभिषेक यादव, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शिवानी मेहला, अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी राहुल चौहान, सहायक निर्वाचन अधिकारी चंबा अरुण शर्मा, सहायक निर्वाचन अधिकारी चुराह शशि पाल शर्मा, सहायक निर्वाचन अधिकारी डलहौजी नवीन कुमार, सहायक निर्वाचन अधिकारी भटियात पारस अग्रवाल, तहसीलदार निर्वाचन अनूप डोगरा, जिलास्तरीय सहायक व्यय पर्यवेक्षक सुनील कुमार शर्मा, सहायक व्यय पर्यवेक्षक चुराह अर्जुन कुमार, सहायक व्यय पर्यवेक्षक चंबा चंदन नाथ, सहायक व्यय पर्यवेक्षक भटियात विनय जरयाल, सहायक व्यय पर्यवेक्षक डलहौजी तरुण सिंह के अलावा राज्य कर एवं अधिकार आबकारी विभाग तथा आयकर विभाग से संबंधित अधिकारियों के अलावा लोकसभा चुनावों से जुड़े अन्य अधिकारी व कर्मचारी भी उपस्थित थे।