जालंधर/दलजीत अजनोहा : प्रख्यात समाज सेवी जन आंदोलनकारी मनदीप मन्ना ने वरिष्ठ पत्रकार संजीव कुमार से खास बातचीत में पंजाब सरकार की लैंड पूलिंग योजना को प्रदेश के किसानों के लिए एक बड़ी तबाही करार दिया।
उन्होंने खुलासा किया कि इस योजना के तहत अब तक सरकार द्वारा 65,000 एकड़ जमीन अधिग्रहित की जा चुकी है। सरकार ने दावा किया था कि किसानों को हर एकड़ के बदले एक लाख रुपये सालाना दिये जाएंगे। इस वायदे को पूरा करने के लिए सरकार को 640 करोड़ रुपये की जरूरत पड़ेगी। मन्ना ने सवाल उठाया कि “इतनी बड़ी राशि सरकार कहां से लाएगी?”
मन्ना ने यह भी आरोप लगाया कि इस योजना में आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों के लिए आवास का कोई प्रावधान नहीं है, जो इस योजना की असल मंशा पर सवाल खड़े करता है।
उन्होंने मुख्यमंत्री भगवंत मान के इस बयान पर भी सवाल उठाया जिसमें कहा गया था कि “कोई भी किसान यदि अपनी जमीन देना नहीं चाहता तो उसे मजबूर नहीं किया जाएगा।” लेकिन मन्ना ने कहा, “हकीकत यह है कि किसानों की जमीन ज़ब्त की जा रही है, उन्हें एनओसी नहीं दी जा रही, ऐसे में किसान के पास क्या विकल्प है?”
उन्होंने सरकार पर आरोप लगाया कि वह जनता की भलाई की बजाय माफियाओं के हितों के लिए काम कर रही है। साथ ही उन्होंने आशंका जताई कि सरकार इस योजना के तहत अधिग्रहीत जमीन को गिरवी रखकर कर्ज ले सकती है, जिससे महिलाओं को 1000 रुपये प्रतिमाह की योजना को संचालित किया जा सके।
आज शिरोमणि अकाली दल द्वारा इस योजना के विरोध में प्रदर्शन पर भी मन्ना ने दोहरापन दिखाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “यह वही योजना है जिसे अकालियों और बीजेपी की पिछली सरकार ने शुरू किया था और अब वोटों के लिए इसका विरोध कर रहे हैं।”
अंत में मन्ना ने पंजाब की जनता से अपील करते हुए कहा, “अब नहीं जागे तो बहुत देर हो जाएगी, पंजाबियों को इस साजिश के खिलाफ एकजुट होना पड़ेगा।”