चंडीगढ़ : पंजाब सरकार ने मेडिकल कॉलेजों के इंटर्न का स्टापेंड बढ़ाने का फैसला किया है. जिसमें खबरों के अनुसार बताया जा रहा है कि ग्रेजुएशन कर रहे छात्रों को पहले, दूसरे और तीसरे साल में 76,77 और 78 हजार रुपये दिए जाएंगे.इसी तरह सीनियर डॉक्टरों को 92,93,94 हजार रुपये दिए जाएंगे।
सरकार के इस फैसले के बाद सभी मेडिकल अस्पतालो में आम लोगों के लिए सेवाएं शुरू हो गई हैं. यह दावा स्वास्थ्य मंत्री डॉ.बलबीर सिंह ने किया है. इस निर्णय से पंजाब के मेडिकल कॉलेजों में पढ़ने वाले छात्रों का मनोबल बढ़ेगा और वे अपने करियर में और अधिक उत्साह के साथ आगे बढ़ सकेंगे।
स्वास्थ्य क्षेत्र में संदेश
पंजाब सरकार का यह फैसला न केवल इंटर्न्स के लिए, बल्कि पूरे स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए एक सकारात्मक संदेश देता है. बढ़ा हुआ स्टाइपेंड इंटर्न्स को प्रोत्साहित करेगा कि वे अपनी पढ़ाई और प्रशिक्षण के दौरान अधिक समर्पण के साथ काम करें. इससे राज्य में स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता में भी सुधार होने और भविष्य के डॉक्टरों के लिए प्रेरणा, यह वृद्धि न केवल वर्तमान इंटर्न्स के लिए लाभकारी है, बल्कि भविष्य में मेडिकल क्षेत्र में आने वाले सभी छात्रों के लिए भी एक प्रेरणा है. सरकार का यह कदम दर्शाता है कि वह युवा डॉक्टरों के कल्याण और उनके योगदान को गंभीरता से ले रही है।
स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह ने मामले का लिया संज्ञान
सबसे बड़ी बात ये है कि मेडिकल कॉलेजों में जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर थे. और विपक्ष भी इस मुद्दे को बार-बार उठा रहा था. जिसके बाद स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह ने खुद इस मामले का जांच किया और उनके साथ बैठक कर कहा ये काफी समय से पेय रिवीजन स्टाइपेंड का मामला चल रहा है, अब इसे लागू कर देना चाहिए,और इसके बाद सभी डॉक्टरों को बुलाया गया. बाद में वित्त मंत्री के नेतृत्व में बैठक हुई, जिसमें हर मुद्दे पर बात हुई और स्टाइपेंड में बढ़ोतरी को मंजूरी दी गई. अब उन्होंने हड़ताल वापस लेने का फैसला किया है. ओ.पी.डी. और ऑपरेशन थियेटर अब सामान्य रूप से काम कर रहे हैं।