राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने शुक्रवार को पंजाब में विश्व हिंदू परिषद (विहिप) नेता विकास प्रभाकर उर्फ विकास बग्गा की हत्या के मामले में बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) के दो गुर्गों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया।
एनआईए ने धरमिंदर कुमार उर्फ कुणाल और दुबई में छिपे हुए आरोपी हरविंदर कुमार उर्फ सोनू के खिलाफ गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए), भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) और शस्त्र अधिनियम के तहत आरोप लगाए हैं। विकास बग्गा की 13 अप्रैल 2024 को पंजाब के रूपनगर जिले के नंगल इलाके में उनकी दुकान में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. वह विहिप की नंगल इकाई के अध्यक्ष थे और इलाके में सक्रिय सामाजिक कार्यों में लगे रहते थे।
इस साजिश में कौन-कौन शामिल था?
एनआईए की जांच में सामने आया है कि इस हत्या की साजिश पाकिस्तान, जर्मनी और दुबई में बैठे बीकेआई के गुर्गों ने मिलकर रची थी।
मुख्य साजिशकर्ता- पाकिस्तान स्थित बीकेआई सरगना वधावा सिंह बब्बर
साजिश रचने वाले- जर्मनी में मौजूद हरजीत सिंह उर्फ लाडी और कुलबीर सिंह उर्फ सिद्धू
हमलावर- पंजाब में मौजूद बीकेआई के शूटर
एनआईए ने अब तक क्या कार्रवाई की?
नौ मई को एनआईए ने पंजाब पुलिस से यह मामला अपने हाथ में लिया था. इससे पहले, कुलबीर सिंह, हरजीत सिंह लाडी,
वधावा सिंह बब्बर, मंदीप कुमार उर्फ मंगली और सुरिंदर कुमार उर्फ रिक्का के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया जा चुका है. अब धरमिंदर कुमार और दुबई में छिपे हरविंदर कुमार के खिलाफ भी आरोप तय कर दिए गए हैं।
आगे क्या होगा?
एनआईए अब फरार आरोपियों को पकड़ने के लिए इंटरपोल की मदद ले सकती है. इस केस से जुड़े सभी आरोपियों को कानून के कटघरे में लाने की कोशिश की जा रही है. सरकार भी इस मामले को गंभीरता से ले रही है और आतंकी संगठनों की गतिविधियों पर नजर बनाए हुए है।