चंड़ीगढ़ : पंजाब सरकार ने काम के घंटों को लेकर स्पष्टीकरण दिया है। उन्होंने कहा कि कामकाजी दिन के दौरान एक श्रमिक से 12 घंटे से अधिक काम नहीं करवाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि काम के घंटों संबंधी फैक्टरीज एक्ट 1948 के अनुसार बीते दिनों जारी पत्र की गलत व्याख्या की गई है।
इस संबंधी पंजाब सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि विभाग के ध्यान में यह मामला आने के बाद श्रम विभाग पंजाब द्वारा स्पष्ट किया गया है कि जारी पत्र के नुक्ता नंबर 1 पर बताया है कि कामकाजी दिन के दौरान एक श्रमिक से अधिक से अधिक 12 घंटे काम करवाया जा सकता है।
प्रवक्ता ने स्पष्ट किया कि फैक्टरीज एक्ट 1948 के सैक्शन अनुसार काम वाले घंटों की संख्या पहले की तरह 8 घंटे ही है, जिसमें आराम का समय (रैस्ट इंटरवल्ज) शामिल नहीं है। प्रवक्ता ने स्पष्ट किया कि एक्ट अनुसार किसी भी बालिग श्रमिक से 48 घंटे से अधिक काम नहीं लिया जा सकता।
यदि किसी श्रमिक के काम वाले घंटों की संख्या बढ़ जाती है तो बालिग श्रमिक को फैक्टरीज एक्ट 1948 के सैक्शन 59 अनुसार ओवरटाइम देना जरूरी है। इस मद के अनुसार फैक्टरी में काम करने वाला वर्कर अगर एक कामकाजी दिन के दौरान 9 घंटे से अधिक काम करता है और हफ्ते में 48 घंटे से अधिक काम करता है तो उसको दिहाड़ी से दोगुणा वेतन देना लाजिमी है।
फैक्टरी एक्ट और रूल्ज अनुसार कोई भी वर्कर लगातार 7 दिन से ज्यादा ओवरटाइम नहीं कर सकता। इसके साथ ही एक हफ्ते में किसी भी वर्कर के कामकाजी घंटे 60 से ज्यादा नहीं हो सकते और न ही एक पखवाड़े में किसी वर्कर के कामकाजी घंटे 115 से अधिक हो सकते हैं।