नई दिल्ली : मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को कैबिनेट मंत्रियों के साथ वीसी पर बातचीत करने की अनुमति देने के लिए दिल्ली दिल्ली हाई कोर्ट में एक नई अर्जी दाखिल की है। वकील श्रीकांत प्रसाद ने दिल्ली हाई कोर्ट में इस संबंध में अर्जी दाखिल की है और केजरीवाल के लिए वर्चुअल कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बातचीत करने की व्यवस्था की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि न तो भारतीय संविधान और न ही किसी कानून ने मुख्यमंत्री या प्रधानमंत्री सहित किसी भी मंत्री को जेल से सरकार चलाने से रोका है। ऐसे में केजरीवाल भी जेल से शासन चला सकते हैं और उन्हें अपने कैबिनेट मंत्रियों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिग के जरिए बातचीत करने की अनुमति दी जाए।
मीडिया बना रहा है केजरीवाल पर इस्तीफे का दबाव : केजरीवाल के वकील ने दिल्ली हाई कोर्ट में दाखिल अर्जी में मीडिया को केजरीवाल के इस्तीफे और दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने पर दबाव बनाने के साथ-साथ सनसनीखेज सुर्खियां प्रसारित करने से रोकने की मांग की है। जनहित याचिका में दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा को केजरीवाल के इस्तीफे के लिए अवैध तरीकों से विरोध या बयान देकर कोई अनुचित दबाव बनाने से रोकने की भी मांग की गई है।
SC से केजरीवाल को नहीं मिली थी राहत : बता दें दिल्ली के शराब घोटाले में फिलहाल मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को राहत नहीं मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने उनकी याचिका पर जल्दी सुनवाई से करने से इनकार कर दिया है। अब सुप्रीम कोर्ट इस मामले में अगली सुनवाई 29 अप्रैल को करेगी। केजरीवाल के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा था कि पहले चरण का चुनाव 19 अप्रैल से शुरू हो रहे हैं इसलिए उन्हें राहत दी जाए और उनके मामलों की जल्द से जल्द सुनवाई की जाए मगर कोर्ट ने तुरंत राहत देने से इनकार कर दिया। ऐसे में 19 अप्रैल को देश में लोकसभा चुनाव के पहले चरण की वोटिंग होगी। इस दौरान अरविंद केजरीवाल चुनाव प्रचार में हिस्सा नहीं ले पाएंगे। बता दें कि दिल्ली आबकारी नीति मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को ईडी ने 21 मार्च को गिरफ्तार किया था अभी वो तिहाड़ जेल में न्यायिक हिरासत में बंद हैं। 29 अप्रैल को उनकी न्यायिक हिरासत खत्म होगी। इसके बाद उनकी जमानत याचिका पर सुनवाई होगी।