एएम नाथ । शिमला : हिमाचल प्रदेश में गंभीर प्राकृतिक आपदा का सामना कर रहे चंबा व कुल्लू जिलों में नुकसान का जायजा लेने के लिए केंद्रीय गृह मंत्रालय की दो टीमें रविवार को पठानकाेट व चंडीगढ़ से पहुंचेंगी। पठानकोट से एक टीम चंबा पहुंचेगी और दूसरी टीम कुल्लू जाएगी। दोनों टीमें 7 से 10 सितंबर तक दौरे पर रहेंगी।
नुकसान का आकलन कर गृह मंत्रालय को रिपोर्ट देंगे। प्रदेश सरकार ने 3959 करोड़ के नुकसान का आकलन किया है। अभी तक मानसून के दौरान वर्षा का क्रम बना हुआ है और प्रदेश के हर जिला में नुकसान का आंकड़ा बढ़ता जा रहा है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का दौरा खराब मौसम के कारण निर्धारित नहीं हो पा रहा है। अगले सप्ताह मौसम साफ होने पर पीएम मोदी कुल्लू व चंबा के आपदाग्रस्त क्षेत्रों का दौरा करने के लिए हवाई सर्वेक्षण करेंगे। इस सप्ताह खराब मौसम के कारण प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से हिमाचल प्रदेश का दौरा तय नहीं हो पाया।। हिमाचल प्रदेश सरकार की ओर से राज्य में आई गंभीर प्राकृतिक आपदा और बाढ़ से हुए नुकसान को लेकर केंद्र सरकार से विशेष राहत पैकेज की मांग की जा रही है। प्रदेश में जून माह में सबसे पहले मंडी जिला के सराज विधानसभा क्षेत्र में 31 लोगों की मौत होने और सभी स्थानों का सड़क संपर्क कट गया था। उसके बाद कुल्लू, कांगड़ा, मंडी और अब चंबा जिला आपदा में घिरा हुआ है। प्रदेश सरकार ने विधानसभा के मानसून सत्र के दौरान हिमाचल में अभूतपूर्व आपदा की स्थिति को देखते हुए राज्य को राष्ट्रीय आपदा ग्रस्त प्रदेश घोषित करने का प्रस्ताव पारित किया। इसके साथ-साथ हिमाचल प्रदेश को आपदा ग्रस्त घोषित किया था।10 हजार करोड़ रुपये का 2023 में हुया था नुकसान : वर्ष 2023 में हिमाचल प्रदेश में प्राकृतिक आपदा से 10 हजार करोड़ से अधिक का नुकसान हुआ था। 2024 में भी हिमाचल प्रदेश के शिमला व कुल्लू जिलों ने आपदा का सामना किया था। इस साल प्रदेश में कांगड़ा, कुल्लू, मंडी, चंबा, लाहुल-स्पीति जिलों में बाढ़ जैसे हालात पैदा हुए हैं।