नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव काफी समय से टलता आ रहा है, लेकिन अब खबर है कि जल्द ही इसका ऐलान हो सकता है। हालांकि पार्टी की ओर से अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है, लेकिन रिपोर्ट्स में दावा किया जा रहा है कि नए अध्यक्ष के लिए अंदरूनी चर्चा चल रही है और औपचारिक प्रक्रिया (भाजपा अध्यक्ष चुनाव) जून के मध्य तक शुरू हो सकती है। इसके साथ ही जून के अंत तक नए अध्यक्ष की घोषणा हो सकती है।
भाजपा अध्यक्ष चुनाव के लिए सबसे बड़ी शर्त पूरी
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने ज्यादातर राज्यों में संगठनात्मक चुनाव पूरे कर लिए हैं, जो अगले राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव से पहले पार्टी संविधान के तहत एक जरूरी शर्त है। हाल ही में उत्तर प्रदेश में 70 जिला अध्यक्षों की घोषणा ने इस अटकल को और तेज कर दिया है कि केंद्रीय नेतृत्व जल्द ही भाजपा अध्यक्ष पद पर फैसला ले सकता है। हालांकि, कहा जा रहा है कि 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के कारण प्रक्रिया स्थगित कर दी गई थी।
इन राज्यों के अध्यक्षों की घोषणा के बाद चुनाव संभव
रिपोर्ट के अनुसार, पार्टी सूत्रों ने कथित तौर पर संकेत दिया है कि राष्ट्रीय स्तर पर पार्टी अध्यक्ष की नियुक्ति से पहले भारतीय जनता पार्टी उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और उत्तराखंड समेत प्रमुख राज्यों में नए राज्य इकाई अध्यक्षों को अंतिम रूप दे सकती है। उत्तर प्रदेश में जातिगत समीकरण महत्वपूर्ण हैं और कथित तौर पर ब्राह्मण चेहरे पर विचार किया जा रहा था। हालांकि, इस बीच, पार्टी के कुछ वर्गों में ओबीसी नेता की मांग बढ़ गई है।
मध्य प्रदेश में मौजूदा नेतृत्व संरचना में एक ओबीसी मुख्यमंत्री और एक ब्राह्मण राज्य अध्यक्ष है। सूत्रों का कहना है कि पार्टी अब एक आदिवासी नेता को राज्य प्रमुख नियुक्त करने पर विचार कर रही है। उत्तराखंड में, एक ब्राह्मण नेता को राज्य अध्यक्ष पद के लिए सबसे आगे बताया जाता है। हालांकि, अभी तक पार्टी की ओर से कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है।
भाजपा अध्यक्ष की दौड़ में ये 3 नाम सबसे आगे
भाजपा अध्यक्ष के लिए तीन नाम सामने आ रहे हैं, जिन्हें दावेदार माना जा रहा है। केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान, शिवराज सिंह चौहान और मनोहर लाल खट्टर के नामों पर विचार किया जा रहा है। धर्मेंद्र प्रधान ओडिशा के एक प्रमुख ओबीसी नेता हैं, जो अपने संगठनात्मक कौशल और केंद्रीय नेतृत्व से निकटता के लिए जाने जाते हैं। शिवराज सिंह चौहान लंबे समय तक मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे हैं और उन्हें जमीनी स्तर के अनुभव वाले एक जन नेता के रूप में देखा जाता है। वहीं, मनोहर लाल खट्टर निरंतरता और प्रशासनिक अनुभव का प्रतिनिधित्व कर सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक, पार्टी का अंतिम चयन संगठनात्मक अनुभव, क्षेत्रीय प्रतिनिधित्व और जातिगत संतुलन को ध्यान में रखते हुए किया जा सकता है।
जेपी नड्डा की जगह कौन बनेगा नया अध्यक्ष?
मौजूदा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा जनवरी 2020 से इस पद पर हैं। 2024 के आम चुनावों में पार्टी को आगे बढ़ाने के लिए उनका कार्यकाल बढ़ाया गया था। हालांकि, अब नेतृत्व परिवर्तन की चर्चाओं ने जोर पकड़ लिया है। चुनाव प्रक्रिया की देखरेख के लिए एक केंद्रीय चुनाव समिति गठित किए जाने की उम्मीद है, जिसमें नामांकन दाखिल करना, जांच और यदि आवश्यक हो तो मतदान शामिल होगा। हालांकि, अभी यह स्पष्ट नहीं है कि जेपी नड्डा को दूसरा पूर्ण कार्यकाल दिया जाएगा या पार्टी कोई नया चेहरा चुनेगी।