हत्या में एके सीरीज के हथियार इस्तेमाल किए गए
चंडीगढ़ :
एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स के एडीजीपी प्रमोद बान वीरवार को खुलासा किया कि जनवरी में ही मूसेवाला की हत्या की प्लानिंग थी। इसका मास्टरमाइंड गैंगस्टर लॉरेंस था। लॉरेंस ने पूरी प्लानिंग की। जिसे उसके भाई अनमोल, कनाडा बैठे साथी गोल्डी बराड़ और भांजे सचिन थापन ने अंजाम दिया।
हालांकि, उस वक्त यह वारदात को अंजाम नहीं दे सके। यही नहीं, लॉरेंस ने फर्जी पासपोर्ट पर अपने भाई अनमोल और भांजे सचिन थापन को विदेश भेज दिया ताकि हत्या के बाद वह पुलिस के हत्थे न चढ़ें।
एडीजीपी प्रमोद बान ने कहा कि शार्पशूटर्स 25 मई को ही मानसा पहुंच चुके थे। वह तभी से मूसेवाला की हत्या के लिए मौका तलाश रहे थे। उन्होंने 27 मई को भी कोशिश की थी, लेकिन कामयाब नहीं हो सके। एडीजीपी प्रमोद बान ने कहा कि क मोहाली में विक्की मिड्डूखेड़ा का कत्ल ही हत्या की वजह बना। गैंगस्टर लॉरेंस को शक था कि मिड्डूखेड़ा के कत्ल में मूसेवाला का हाथ है। मिड्डूखेड़ा लॉरेंस का कॉलेज फ्रेंड था। मिड्डूखेड़ा के कत्ल के बाद से ही बदला लेने के लिए लॉरेंस ने पूरी साजिश रची। उन्होंने बताया कि मूसेवाला की हत्या में पिस्टल और एके सीरीज के हथियार इस्तेमाल हुए हैं। उन्होंने एएन 94 के इस्तेमाल को नकार दिया। उन्होंने कहा कि दिल्ली पुलिस के पकड़े शार्प शूटर प्रियवर्त फौजी से भी पंजाब पुलिस पूछताछ करेगी।
केकड़ा और निक्कू ने मूसेवाला की रेकी की
संदीप केकड़ा और निक्कू ने 29 मई को मूसेवाला की रेकी की। यह दोनों मूसेवाला के घर गए थे। इन्होंने मूसेवाला के साथ सेल्फी ली। फिर वीडियो कॉल कर गोल्डी बराड़ और सचिन थापन को मूसेवाला के बारे में जानकारी दी। मूसेवाला के बिना सिक्योरिटी थार जीप से जाने की बात कही। इसके बाद उन्होंने बाइक से कुछ दूर तक थार का पीछा किया। आगे रोड पर कोरोला और बोलेरो में शार्प शूटर्स मौजूद थे। उन्हें इशारा करने के बाद दोनों वहां से निकल गए।