फिजिकल डिस्टेंस की जमकर उड़ी धज्जियां।
माहिलपुर – माहिलपुर के दोहलरों गांव के दोआबा सीनियर सेकेंडरी स्कूल प्रबंधन कमेटी द्वारा पढ़ने वाले बच्चों से ट्रांसपोर्ट फीस की मांग को लेकर परिजनों ने होशियारपुर-चंडीगढ़ सड़क पर जाम लगा कर स्कूल प्रबंधन के विरुद्ध जमकर नारेबाजी करते हुए प्रदर्शन किया। 2 बजे लगे जाम के कारण चब्बेवाल से लेकर गढ़शंकर तक पन्द्रह किलोमीटर तक वाहन खड़े हो गए। छात्रों के परिजनों की मांग थी कि स्कूल बंद होने के समय की फीस, बिल्डिंग चार्ज व ट्रांसपोर्ट चार्ज न वसूले जाए। स्कूल प्रबंधन ने बताया कि उन्हें राजनीतिक दल के वर्कर ने धमकी दी थी कि वह स्कूल के सामने प्रदर्शन करेंगे और उन्होंने इस संबंध में पुलिस को सूचना दे दी थी लेकिन पुलिस जाम लगने के एक घंटा बाद पुहंची तबतक सड़क पर सैकड़ो वाहन खड़े हो चुके थे जिसके कारण पैदल चलना भी मुश्किल हो गया था। छात्रों के परिजनों का कहना था कि कोरोना के चलते काम धंधे बंद पड़े हैं इसलिए वह दाखिला फीस जमा नहीं करा सकते और स्कूल बंद होने के चलते ट्रांसपोर्ट फीस मांगना गलत है। वही स्कूल प्रबंधन का कहना था कि स्कूल खर्चे और स्टाफ की पगार का हवाला देकर फीस मांग रहे हैं। जैम की सूचना मिलते ही एसएचओ चब्बेवाल प्रदीप कुमार, एसएचओ गढ़शंकर इकबाल सिंह और एएसपी गढ़शंकर तुषार गुप्ता पुलिस बल के साथ पुहंच गए। उन्होंने परिजनों को स्कूल प्रबंधन के साथ मीटिंग करवाकर आपस मे इस बात पर सहमति जताई कि प्रबंधन स्कूल बंद समय की फीस नही लेगा और न ही ट्रांसपोर्ट फीस के लिए परिजनों पर दबाव बनाएगा। इस प्रदर्शन में जमकर राजनीति हुई एक खास पार्टी के लोग यहां प्रबंधन कमेटीसे स्वयं बात करना चाहते थे लेकिन प्रबंधन कमेटी का कहना था कि जिनके बच्चे स्कूल में नही पढ़ते उनसे बात नही की जाएगी। एएसपी तुषार गुप्ता व एसएचओ माहिलपुर सतविंदर सिंह धालीवाल ने परिजनों के साथ प्रबंधन कमेटी की बैठक बुलाकर इस समस्या का समाधान कर दिया।
स्कूल टीचर व प्रदर्शनकारी आमने सामने….
प्रदर्शन के दौरान स्कूल टीचर परिजनों के पास पुहंच गए और उन्होंने कहा कि जब फीस जमा नहीं कराई जाएगी तो वह भी बच्चों को पढ़ाने से असमर्थ है और उन्होंने प्रदर्शनकारियों द्वारा की जा रही नारेबाजी के जबाव में नारेबाजी करने लगे। इस स्तिथि को पुलिस ने बड़ी मुश्किल से कंट्रोल किया।