चंडीगढ़। स्पोर्ट्स एकेडमी में नाबालिग लड़की से यौन शोषण मामले में चंडीगढ़ जिला अदालत द्वारा महिला वार्डन को दोषी करार दिया है। चंडीगढ़ जिला अदालत की फास्ट-ट्रैक स्पेशल कोर्ट जज स्वाति सहगल ने प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन फ्रॉम सेक्सुअल ऑफेंसेस एक्ट (पोस्को एक्ट) के तहत महिला को दोषी करार दिया है। एक्ट की धारा 6 और 10 के तहत चंडीगढ़ पुलिस ने इस महिला के खिलाफ वर्ष 2018 में केस दर्ज किया था। मामले में शिकायतकर्ता एक छोटी खिलाड़ी थी। लड़की का कहना था कि आरोपी महिला चंडीगढ़ की एक स्पोर्ट्स एकेडमी में वार्डन थी। उसने उसके साथ यौन शोषण किया था। लड़की मूलरुप से पंजाब की रहने वाली थी और उसके परिजनों ने उसे चंडीगढ़ में ट्रेनिंग के लिए भेजा था। बच्ची की शिकायत पर पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी वार्डन को गिरफ्तार किया था। वहीं बच्ची का मेडिकल भी करवाया गया था। आरोपी महिला का मोबाइल फोन फॉरेंसिक लैब में जांच के लिए भी भेजा गया था। जांच के बाद पुलिस ने कोर्ट में चालान पेश किया। आरोपी महिला ने सीआरपीसी 313 के बयानों में खुद को बेकसूर बताया था। हालांकि कोर्ट ने प्रथम दृष्टया में केस बनता देख आरोप तय कर ट्रायल शुरू किया था। मामले में प्रॉसिक्यूशन ने केस में गवाही दर्ज करवाई और दावा किया कि शक के संदेह से दूर जाकर महिला का अपराध साबित किया गया है। लगभग दर्जन भर गवाहों के बयान केस में दर्ज किए गए थे। दोष सिद्ध होने पर महिला को दोषी करार दिया गया। अब केस में आज सजा का ऐलान किया जाएगा।