नवांशहर। शहर में शुगर मिल की चिमनी से गिरने वाली राख थमने की बजाए और तेज हो गई है। पिछले दो-तीन दिनों के मुकाबले शनिवार रात व रविवार को इसकी मात्रा पहले से काफी ज्यादा रही तथा राहगीर व शहर के आम लोग इसके चलते काफी परेशानी झेल रहे हैं। बता दें कि 22 नवंबर को नवांशहर की चीनी मिल शुरू हुई थी। इसके अगले ही दिन शहर में राख गिरनी शुरू हो गई। पहले तो लोगों ने समझा कि मिल की शुरूआत में शायद दो-तीन दिन राख गिरेगी तथा बाद में ये हट जाएगी, क्योंकि पिछले चार-पांच साल में ऐसा ही हो रहा था। लेकिन इस बार राख गिरने का सिलसिला शुरू हुआ, तो ये थमने का नाम नहीं ले रहा। पिछले लगातार छह दिनों से न सिर्फ राख लोगों को परेशान कर रही है, बल्कि इसकी मात्रा भी लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसे में राख के लोगों की आंखों में पड़ने की शिकायतें भी बढ़ रही हैं। रविवार को जब लोग उठे, तो घर-आंगन, छत व बाहर सूख रहे कपड़े हर ओर राख ही नजर आ रही थी। हालात ये हैं कि लोगों के हाथों में झाड़ू ही रहता है, क्योंकि एक बार सफाई करने के दो-तीन घंटे बाद ही फिर से राख की वजह से घर-आंगन गंदा हो जाता है। डाक्टरों का कहना है कि आंख में राख पड़ने से कई बार कई-कई घंटों तक जलन हो सकती है तथा इससे आंख को नुकसान भी पहुंच सकता है। इसके अलावा राख की वजह से अस्थमा के मरीजों को भी नुकसान पहुंच सकता है। पर्यावरण प्रेमियों ने प्रशासन से मांग की है कि शुगर मिल व को-जनरेशन प्लांट की इस राख को तुरंत बंद करवाया जाए, ताकि शहर के लोगों को साफ हवा मिल सके।
मिल व को-जनरेशन प्लांट की करवाई जाएगी जांच – डीसी
डिप्टी कमिश्नर नवजोत पाल सिंह रंधावा ने कहा कि मामला उनके ध्यान में आ गया है तथा वे इसे प्राथमिकता के आधार पर चैक करवाएंगे। उन्होंने कहा कि पर्यावरण या शहर के लोगों के स्वस्थ्य के साथ किसी भी तरह का खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा।
मिल की चिमनियों से राख की रफ्तार हुई तेज : प्रशासन से कार्रवाई की मांग
Nov 28, 2022