पटियाला : सेंट्रल जेल से नवजोत सिंह सिद्धू शनिवार को 317 दिन बाद रिहा हो गए। कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू को 1988 में पटियाला में हुए रोडरेज केस में 19 मई 2022 को सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें एक साल कैद की सजा सुनाई थी। जिस के बाद सिद्धू ने पटियाला की एक अदालत के सामने आत्मसमर्पण कर दिया था। सिद्धू जब जेल से बाहर आए तो मुठ्ठी बांधकर और सलाम कर अपने समर्थकों का अभिवादन किया।
उनके समर्थक सुबह से ही पटियाला जेल के बाहर जुटने लगे थे। ढोल वालों को भी बुलाया गया था। इसके बाद सिद्धू की रिहाई का इंतजार शुरू हुआ। पहले दोपहर 12 बजे उन्हें रिहा करने की बात कही जा रही थी, लेकिन पेपर वर्क पूरा होते होते शाम हो गई। शाम छह बजने से कुछ मिनट पहले सिद्धू जेल से बाहर निकले। समर्थकों की नारेबाज पर सिद्धू ने झुककर उनका अभिवादन किया।
जेल से बाहर आते ही नवजोत सिंह सिद्धू ने सरकार पर जोरदार हमला बोलते हुए कहा कि सत्य को दबाने का प्रयास सफल नहीं हो सकता। आज लोकतंत्र बेड़ियों में है। सिद्धू ने कहा कि पंजाब में राष्ट्रपति शासन लाने की साजिश की जा रही है। अल्पसंख्यकों को निशाना बनाया जा रहा है। पंजाब को कमजोर करने की कोशिश की तो कमजोर हो जाओगे। अभी लोकतंत्र नाम की कोई चीज नहीं है। नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा भगवंत मान ने पंजाब में सपने और झूठ बेचा। पंजाबियों को मूर्ख बनाया। आज वह अखबारी मुख्यमंत्री बनकर बैठ गया है। मेरी सिक्योरिटी विड्रॉ करने की बात की। एक सिद्धू मरवा दिया, 2 और मरवा दो, मैं डरता नहीं हूं। बरगाड़ी बेअदबी पर मैंने कैप्टन अमरिंदर सिंह को हटाया, उसके इंसाफ का क्या हुआ?। रेत और शराब से 60 हजार करोड़ की कमाई कहां गई?।उन्होंने कहा कि मुझे दोपहर के आसपास रिहा किया जाना था लेकिन उन्होंने इसमें देरी की। वे चाहते थे कि मीडिया के लोग चले जाएं।
राहुल गांधी क्रांति हैं : उन्होंने कहा राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता रद्द करने पर कहा- लोकतंत्र आज बेड़ियों में है। संस्थाएं गुलाम हैं। जब भी इस देश में तानाशाही आई तो एक क्रांति भी आई है। राहुल गांधी क्रांति हैं जो केंद्र सरकार की जड़ें हिलाकर रख देगा। राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के पूर्वजों ने देश को आजाद कराया है।