एएम नाथ । गगरेट : उपमंडल गगरेट की ग्राम पंचायत बड़ोह के तहत पांवड़ा में स्थापित किए चिकन प्रोसेसिंग प्लांट के खिलाफ फिर से आक्रोश के स्वर फूटने लगे हैं। लोगों ने इस यूनिट पर प्रदूषण विभाग के मानकों को नजरअंदाज कर प्रदूषण फैलाने के आरोप लगाते हुए इस यूनिट को बंद करने की वकालत की है।
लोगों ने चेताया है कि अगर इस यूनिट द्वारा फैलाए जा रहे प्रदूषण को लेकर प्रशासन ने कोई कार्रवाई न की तो वे उग्र आंदोलन शुरू करने से गुरेज नहीं करेंगे। बुधवार को ग्राम पंचायत बड़ोह के पांवड़ा गांव में ग्राम पंचायत बड़ोह सहित कई अन्य गांवों के लोग भी जुटे और आरोप लगाया कि चिकन प्रोसेसिंग यूनिट की ओर से खुले में गंदा पानी छोड़ा जा रहा है। इससे प्राकृतिक जल स्त्रोत भी खराब हो रहे हैं। इस यूनिट से आने वाली दुर्गंध से आसपास रह रहे लोगों का जीना मुहाल हो गया है।
ग्राम पंचायत बड़ोह के प्रधान जसवीर सिंह जस्सी ने कहा कि प्रदेश सरकार को इस यूनिट को यहां खोलने की इजाजत ही नहीं देनी चाहिए थी। प्रदेश सरकार इस यूनिट को बंद करवाए या फिर पांवड़ा गांव के लोगों की जमीन का भी सरकार अधिग्रहण कर यहां भी औद्योगिक क्षेत्र बसा ले। ग्राम पंचायत कलोह से ममता देवी ने कहा कि पूर्व विधायक चैतन्य शर्मा ने इस यूनिट को बंद करने के लिए तब भी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को पत्र लिखा था, लेकिन प्रदेश सरकार ने इसे बंद नहीं किया। अब विधायक राकेश कालिया इस मुद्दे को विधानसभा में उठाएं और इसे बंद करवाकर लोगों को राहत दिलाएं।
ग्राम पंचायत नंगल जरियालां के उपप्रधान कैप्टन सुशील जरियाल ने कहा कि ग्राम पंचायतों को भी ऐसे यूनिट के लिए अनापत्ति प्रमाणपत्र देने से बचना चाहिए, क्योंकि बाद में ही इनके दुष्परिणाम सामने आते हैं। कहा कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड इस यूनिट में प्रदूषण नियंत्रण के मानकों की अनुपालना करवाए। द विशाल हिमाचल गुड्स ट्रांसपोर्ट सोसायटी के प्रधान सतीश गोगी ने कहा कि प्रशासन इस मामले का त्वरित संज्ञान ले। इस अवसर पर हर्षित तिवारी, दीपक कुमार, ग्राम पंचायत दियोली के प्रधान पूर्ण सिंह सहित व ग्रामीण मौजूद रहे।
इस मामले पर एसडीएम सौमिल गौतम का कहना है कि अगर गांववासियों को प्रदूषण की शिकायत है तो इसकी जांच के लिए प्रदूषण बोर्ड को लिखा जाएगा। यूनिट प्रबंधन से भी प्रदूषण को नियंत्रित करने की हिदायत दी जाएगी।
प्रोसेसिंग यूनिट के एमडी ने आरोप नकारे
इस मामले पर प्रोसेसिंग यूनिट के एमडी आकाश ठाकुर ने इन आरोपों को सिरे से खारिज किया है। उन्होंने कहा कि चिकिन प्रोसेसिंग यूनिट कोई अवैध यूनिट नहीं है, बल्कि इसी से देश के कई कोनों के साथ भारतीय सेना को भी चिकन की सप्लाई होती है। कहा कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड समय-समय पर यहां से सेंपल लेकर इनकी जांच करता है। अगर फिर भी किसी को कोई शक है तो दोबारा यहां के सेंपल जांच के लिए लेकर जांच करवाई जा सकती है।
चिकन प्रोसेसिंग प्लांट के खिलाफ फिर से आक्रोश : प्रदूषण फैलाने के आरोप – गांवों के लोगों ने कहा प्रदूषण को लेकर प्रशासन ने कोई कार्रवाई न की तो वे उग्र आंदोलन शुरू करने से गुरेज नहीं करेंगे
Jun 20, 2024